अनुलोम विलोम प्राणायाम:- (Anulom Vilom Paranyama)
नमस्कार दोस्तों
दोस्तों आज हम बात करने वाले है एक ऐसे प्राणायाम की जो बहुत ही मह्त्वपूर्ण है दोस्तों आज के दिन योग का महत्व बढ़ता जा रहा है क्योकि योग ही ऐसा साधन है जिस द्वारा हम अपने स्वास्थ्य को अच्छा रख सकते है। जैसे एक कहावत है '' करो योग रहो निरोग ''
अनुलोम विलोम प्राणायाम एक नाड़ी शोधन प्राणायाम है जो इन ऊर्जा प्रणाली को साफ कर सुचारु रूप से संचालित करने में मदद करता है। जिससे मन को शांति मिलती है और अनुलोम विलोम कई रोगों से लड़ने में कारगर माना जाता है। इस गुणकारी प्राणायाम को करने के बाद शरीर में फुर्ती आती है और एक नयी ऊर्जा का संचार होता है। तथा मन में अच्छे विचार उत्पन्न होते हैं। यह व्यायाम व्यक्ति में सकारात्मक विचारों को उत्पन करके, उसे आत्मविश्वासी बनाता है।
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अनुलोम विलोम करने का तरीका :-
1 अनुलोम विलोम प्राणायाम करने के लिए सबसे पहले एक समतल और साफ जगह का चयन करे और आसन लगाए।
2 आसन पर पद्मासन अवस्था में बैठ जाए अपनी कमर को सीधी रखे और आँखे बंद कर ले।
3 अपने बाए हाथ को घुटने पर रखे और दाए हाथ को ऊपर ले जाते हुए अपनी नासिका के एक छिद्र को अँगूठे से बंद करते हुए गहरी लंबी साँस ले।
4 फिर उसी हाथ की तर्जनी से अपनी नासिका के दूसरे छिद्र को बंद करे और अंगूठे को उठाते हुए साँस को छोड़े।
5 दाएँ नासिका से साँस लिजिए और बाईं ओर से साँस छोड़िए। ऐसा आप 15 से 20 बार कर सकते है।
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अनुलोम विलोम करने का फायदे :-
1 अनुलोम विलोम मन को शांत रखने में आपकी मदद करता है।
2 अनुलोम विलोम श्वसन प्रणाली व रक्त-प्रवाह तंत्र से सम्बन्धित समस्याओं को दूर करता है।
3 अनुलोम विलोम तनाव को दूर करने में सहायक होता है।
4 नाड़ियों की शुद्धिकरण में सहायक होता है
5 शरीर के तापमान को नियत्रण में रखता है।
6 मधुमेह के मरीजों के लिए यह प्राणायाम बहुत लाभदायक है।
7 हृदय रोगों से बचने के लिए यह प्राणायाम बहुत सहायक है।
8 शरीर में चर्बी की मात्रा को नियंत्रित कर सकता है और मोटापा कम करता है।
अनुलोम विलोम करते समय सावधानियॉ :-
अनुलोम विलोंम प्राणायाम किसी भी व्यक्ति के लिए निषेध नहीं है क्युकी यह एक ऐसा प्राणायाम है जो किसी भी रोगी के लिए रामबाण इलाज है। इसे हम खाली पेट भी कर सकते है।
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